Ravindra Jadeja (Photo Source: Twitter)
भारत के स्टार ऑलराउंडर रवींद्र जडेजा राष्ट्रीय डोपिंग रोधी एजेंसी (NADA) के अनुसार इस साल जनवरी से मई के बीच सबसे अधिक बार परीक्षण किए जाने वाले क्रिकेटर के रूप में उभरे हैं। एजेंसी की वेबसाइट पर प्रकाशित आंकड़ों से पता चलता है कि जडेजा का इस दौरान तीन बार डोप परीक्षण किया गया।
बता दें, इस साल के शुरुआती पांच महीनों में पुरुष और महिला खिलाड़ियों को मिलाकर कुल 55 क्रिकेटर्स का डोपिंग परीक्षण किया गया। हैरानी की बात यह है कि इनमें से आधे से अधिक परीक्षण ‘प्रतियोगिता से बाहर’ (OOC) आयोजित किए गए थे, जो NADA द्वारा एक सक्रिय दृष्टिकोण का सुझाव देते हैं। पिछले दो सालों में इस बार सबसे अधिक टेस्ट किए गए हैं।
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आंकड़ों की तुलना करें तो NADA ने 2021 और 2022 में क्रिकेटर्स से क्रमश: 54 और 60 नमूने एकत्रित किए। हालांकि, इस साल इसी अवधि में, भारत के कप्तान रोहित शर्मा और प्रसिद्ध बल्लेबाज विराट कोहली जैसे खिलाड़ियों का परीक्षण नहीं किया गया।
सबसे हैरान कर देने वाली बात यह है कि एक अन्य स्टार ऑलराउंडर हार्दिक पांड्या का भी अप्रैल में OOC मूत्र परीक्षण हुआ था। इसके विपरीत, 2021 और 2022 के दौरान, रोहित शर्मा का प्रत्येक वर्ष तीन नमूनों के साथ परीक्षण किया गया था, जबकि कोहली NADA के परीक्षण से दूर रहे है।
महिला क्रिकेटर्स ने भी दिया परीक्षण
डोपिंग परीक्षणों में वृद्धि में महिला क्रिकेटर्स पर परीक्षणों में उल्लेखनीय वृद्धि भी शामिल है। 2022 में, महिला खिलाड़ियों से लगभग 20 नमूने एकत्र किए गए थे, 2023 के पहले पांच महीनों में केवल दो महिला क्रिकेटर्स, भारत की कप्तान हरमनप्रीत कौर और अनुभवी बल्लेबाज स्मृति मंधाना को देखा गया।
इनमें से अधिकांश नमूने प्रतियोगिताओं के दौरान एकत्र किए गए थे, संभवतः इंडियन प्रीमियर लीग (IPL) के दौरान। कुल 58 नमूनों में से सात ब्लड सैंपल के नमूने थे, बाकी मूत्र के नमूने थे।
जनवरी से मई तक जिन प्रमुख भारतीय क्रिकेटरों का डोपिंग परीक्षण किया गया, उनमें सूर्यकुमार यादव, केएल राहुल, ईशान किशन और मोहम्मद सिराज शामिल हैं। डेविड वार्नर, राशिद खान और जोफ्रा आर्चर जैसे विदेशी खिलाड़ियों को भी आईपीएल सीजन के दौरान परीक्षण से गुजरना पड़ा था।